दिल्ली विधानसभा चुनाव 2025 की तैयारियों के तहत आम आदमी पार्टी (आप) ने महिलाओं को साधने के लिए रणनीति तेज कर दी है। राजधानी के त्यागराज स्टेडियम में आज पार्टी एक विशेष ‘महिला अदालत’ का आयोजन करने जा रही है। इस आयोजन में पार्टी प्रमुख अरविंद केजरीवाल, दिल्ली की मुख्यमंत्री आतिशी, और समाजवादी पार्टी (सपा) अध्यक्ष अखिलेश यादव के भी शामिल होने की उम्मीद है।
महिला वोटर्स पर ‘आप’ का फोकस
चुनाव नजदीक आते ही ‘आप’ का पूरा ध्यान महिला वोटर्स को लुभाने पर है।
- महिला अदालत का उद्देश्य:
इस अदालत के जरिए अरविंद केजरीवाल महिलाओं से ‘आप’ के लिए वोट डालने की अपील करेंगे। - मुद्दे:
- महिला सुरक्षा।
- दिल्ली में बिगड़ती कानून-व्यवस्था।
- भाजपा की नीतियों पर सवाल।
‘मुख्यमंत्री महिला सम्मान योजना’ का ऐलान
महिला वोटर्स को आकर्षित करने के लिए दिल्ली सरकार ने हाल ही में ‘मुख्यमंत्री महिला सम्मान योजना’ शुरू करने की घोषणा की।
- योजना के तहत:
- 18 वर्ष से ऊपर की सभी महिलाओं को हर महीने पहले ₹1,000, और बाद में ₹2,100 दिए जाएंगे।
- यह योजना महिला वोटर्स को सीधे आर्थिक लाभ पहुंचाने का वादा करती है।
महिला सुरक्षा के मुद्दे पर भाजपा को घेरा
‘आप’ लगातार महिला सुरक्षा और कानून-व्यवस्था को लेकर भाजपा को घेरने में जुटी है।
- अरविंद केजरीवाल और आतिशी का हमला:
- महिला अदालत में इन मुद्दों को उठाकर भाजपा की नीतियों पर सवाल खड़े किए जाएंगे।
- दिल्ली की सुरक्षा को लेकर केंद्र सरकार की भूमिका पर आलोचना।
आतिशी का गृहमंत्री अमित शाह को पत्र
हाल ही में मुख्यमंत्री आतिशी ने केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह को एक पत्र लिखकर दिल्ली की कानून-व्यवस्था पर चिंता जताई।
- आतिशी के आरोप:
- भाजपा के नेतृत्व वाली केंद्र सरकार ने रोहिंग्या और बांग्लादेशी प्रवासियों को दिल्ली में अवैध रूप से बसाया।
- इन प्रवासियों से:
- कानून-व्यवस्था की समस्या पैदा हो सकती है।
- दिल्लीवासियों की नौकरियों पर खतरा बढ़ सकता है।
- शहर के सीमित संसाधनों पर अतिरिक्त दबाव पड़ेगा।
रोहिंग्या और बांग्लादेशी मुद्दे पर सियासी घमासान
दिल्ली चुनाव से पहले ‘आप’ और भाजपा के बीच रोहिंग्या और बांग्लादेशी प्रवासियों का मुद्दा जोर पकड़ चुका है।
- ‘आप’ का दावा:
- भाजपा इन प्रवासियों को दिल्ली में बसाकर राजधानी की सुरक्षा को खतरे में डाल रही है।
- भाजपा का पलटवार:
- ‘आप’ पर अवैध प्रवासियों को संरक्षण देने का आरोप।
क्या महिला अदालत चुनावी समीकरण बदल पाएगी?
- दिल्ली के पिछले चुनावों में महिलाओं ने ‘आप’ को बड़े पैमाने पर समर्थन दिया था।
- महिला अदालत और मुख्यमंत्री महिला सम्मान योजना जैसे कदमों के जरिए पार्टी इस बार भी महिला वोटर्स को अपनी ओर खींचने का प्रयास कर रही है।