प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी चार दिवसीय यात्रा पर रवाना हो गए हैं, जिसमें से दो दिन वे फ्रांस तथा दो दिन अमेरिका की यात्रा पर रहेंगे। वह फ्रांस में एआई एक्शन कमेटी की सह-अध्यक्षता करेंगे।
वह राष्ट्रपति मैक्रों के साथ प्रथम भारतीय दूतावास का उद्घाटन करने तथा अंतर्राष्ट्रीय थर्मोन्यूक्लियर रिएक्टर परियोजना का दौरा करने के लिए फ्रांस में होंगे। द्विपक्षीय सहयोग बढ़ाने के लिए फ्रांस में वार्ता करने के बाद वह 12 से 14 फरवरी तक संयुक्त राज्य अमेरिका की यात्रा पर जाएंगे।
दो देशों की यात्रा पर रवाना होने से पहले मोदी ने कहा था कि वह अपने मित्र ट्रंप से मिलने के लिए उत्सुक हैं। ट्रम्प के दूसरी बार अमेरिका के राष्ट्रपति बनने के बाद मोदी पहली बार अमेरिका की यात्रा पर हैं। उन्होंने इस यात्रा को द्विपक्षीय संबंधों की सफलता को आगे बढ़ाने का एक अवसर बताया।
इस यात्रा के साथ ही प्रौद्योगिकी, व्यापार, रक्षा, ऊर्जा और आपूर्ति श्रृंखला क्षेत्रों में अमेरिका के साथ साझेदारी बढ़ाने पर बातचीत होगी और इसे आगे बढ़ाने के लिए एजेंडा तय किया जाएगा।
मोदी ने कहा कि अमेरिका के साथ मिलकर हम दुनिया के उज्ज्वल भविष्य के लिए काम करेंगे । हम दोनों देशों के लोगों की भलाई के लिए काम करेंगे। मैं इसके लिए अपने मित्र ट्रम्प से मिलने का इंतजार कर रहा हूं। मुझे उनके प्रथम कार्यकाल के दौरान भारत और संयुक्त राज्य अमेरिका के बीच व्यापक वैश्विक रणनीतिक साझेदारी बनाने के लिए उनके साथ काम करने की सुखद यादें हैं।
फ्रांस में एआई एक्शन कमेटी की सह-अध्यक्षता: मोदी फ्रांसीसी राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों के निमंत्रण पर वहां गए हैं। वह एआई एक्शन कमेटी की सह-अध्यक्षता करेंगे। इसमें एआई के समावेशी, सुरक्षित और विश्वसनीय उपयोग के साथ-साथ व्यापक सार्वजनिक कार्यों के लिए एआई प्रौद्योगिकी के उपयोग पर चर्चा की जाएगी।
भारत और फ्रांस के बीच रणनीतिक साझेदारी और 2047 के रोडमैप पर प्रगति की समीक्षा की जाएगी। मोदी मजारग्यूज युद्ध कब्रिस्तान में दफनाए गए भारतीय सैनिकों को श्रद्धांजलि देंगे। इन सैनिकों ने प्रथम और द्वितीय विश्व युद्ध में अपने प्राणों की आहुति दी थी।